मध्य प्रदेश

10 दिन बाद मिला बाघ का कटा हुआ सिर, एसटीआर की टीम ने कटा सिर जब्त किया

सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में चूरना परिक्षेत्र की डबरा वीट में 25 जून को शिकारियों ने बाघ का किया था शिकार, सिर काटकर ले गये थे

नर्मदापुरम। सतपुड़ा टाइगर रिजर्व के चूरना रेंज के डबरादेव बीट में शिकारियों ने विगत दिनों 25 जून को एक आठ साल के बाघ का शिकार कर लिया था। शिकारियों ने बाघ की गर्दन से सिर काटकर ले गये। बाघ शिकार के मामले में एसटीआर और डॉग स्क्वार्ड टीम को लेकर आसपास के जंगलों में बाघ के सिर की तलाश की जा रही थी। गुरुवार सुबह धासई नाके के पास पुलिया पर बाघ का कटा सिर गश्ती दल को मिला। सूचना मिलने के बाद एसटीआर उपसंचालक संदीप फैलोज, बोरी अभ्यारंण अधीक्षक राजेश श्रीवास्तव, निशांत जोशी मौके पर पहुंचकर सिर को जब्त कर मामले को जांच में लिया। एसटीआर और एसटीसीएफ की टीम ने बाघ के सिर को एक सप्ताह के भीतर खोजने में सफलता हासिल की हैं। लेकिन शिकारियों का अभी तक कोई सुराग नहीं लग पाया हैं।

एसटीआर उपसंचालक संदीप फैलोप ने बताया कि 26 जून को बाघ के शिकार की घटना के बाद से ही सतपुड़ा टाइगर रिजर्व डॉग स्क्वाड को लेकर जांच दल द्वारा जंगल और राजस्व क्षेत्र के ग्रामों में गश्ती एवं पूछताछ की जा रही थी। बाघ के शिकार की इस घटना के बाद एसटीआर ने स्थानीय पुलिस का भी सहयोग लिया था। गुरुवार सुबह 6 बजे बीटगार्ड धासई नारायण प्रसाद लोधी एवं सुरक्षा श्रमिक धासई नाके से गश्ती के लिए धांसई भीमकुंड रोड पर जा रहे थे। नाके से लगभग 200 मीटर की दूरी पर गुड्डी नाले पर बने रपटे के ऊपर मांस का बड़ा टुकडा दिखाई दिया। जिसे दो कुत्ते पकड़ कर खा रहे थे। गश्ती दल बीटगार्ड के द्वारा कुत्तों को भगाकर मांस के टुकड़े को देखा तो वह बाघ का कटा हुआ सिर था। जिसकी खाल सड़ चुकी थी। सिर की हड्डी पर मांस लगा हुआ था, केनाईन पास में पड़े पाए गए। जिस जगह बाघ का कटा सिर मिला वह स्थल बफर रेंज कक्ष क्रमांक 436 एवं राजस्व की सीमा पर पड़ता है। गश्ती दल ने कटे हुए सिर को चारों ओर पत्थर लगाकर पहले सुरक्षित किया। इसके बाद वरिष्ठ अधिकारियों को सूचना दी। सूचना मिलने के बाद विभागीय अधिकारियों ने तत्काल मौके पर पहुंचकर स्थल का निरीक्षण किया। विभागीय अधिकारी की उपस्थिति में बाघ के पाए गये कटे हुए सिर एवं अन्य अवयवो को जब्त कर जांच शुरु की।

एसटीआर डॉग स्क्वार्ड सेे घटना स्थल की जांच करवाई

सतपुड़ा टाइगर रिजर्व एवं रातापानी के डॉग स्क्वार्ड टीम को घटना स्थल पर बुलाया गया। जिस जगह बाघ का कटा हुआ सिर मिला। उसके आसपास के कुछ संदिग्ध स्थलों जांच करवाई गयी। डॉग टीना ने धांसई ग्राम के कुछ स्थलों को चिन्हित किया गया। एसटीआर की डॉग स्क्वार्ड की टीम के अथक प्रयास से ही बाघ के कटे सिर तक टीम पहुंची है। इसके बाद वन्य प्राणी चिकित्सक रातापानी को मौके पर बुलाकर मृत बाघ के सिर का परीक्षण कर उसका माप लिया गया। बाघ के सिर में बाल मांस अन्य अव्यवो के सेम्पल लेकर सील कर दिया। सेम्पल को वाइल्ड लाफ फोरेंसिक एंड हेल्थ सेंटर जबलपुर भेजा गया है। जहां बाघ के कटे सिर के सेंम्पल की जांच होगी। फिलहॉल एसटीआर को बाघ का कटा सिर चुनौती बना हुआ था, जिसे जब्त कर लिया गया है। हालाकि बाघ का शिकार करने वाले शिकारी अभी एसटीआर की टीम के हाथ नहीं लगे हैं। जल्द ही शिकारी भी एसटीआर की पकड़ में होंगे।

एसटीआर उपसंचालक बोले… जल्द ही शिकारी भी होंगे गिरफ्त में

एसटीआर के उपसंचालक संदीप फैलोज का इस संबंध में कहना है कि बाघ के शिकार का यह मामला विभागीय अधिकारियों के लिए चुनौती बना हुआ था। बाघ का सिर मिल गया है, जल्द ही एसटीआर की टीम शिकारियों को पकड़ने में सफलता हासिल करेगी।

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