मध्य प्रदेश

दिग्विजय सिंह सरकार में मंत्री रहे सईद अहमद को चेक बाउंस मामले में एक साल की जेल व जुर्माना

2014 से विचाराधीन था मामला, कुछ ही देर में जमानत भी मिल गई

भोपाल। प्रदेश की दिग्विजय सरकार में वित्त एवं वाणिज्यिक कर राज्य मंत्री रहे कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सईद अहमद को सतना की अदालत ने दोषी करार दिया है। पूर्व मंत्री को अदालत ने एक वर्ष की कैद और जुर्माने से दंडित किया है। हालांकि कुछ ही देर बाद जमानत भी मिल गई। न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी वंदना मालवीय ने प्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री एवं कांग्रेस नेता सईद अहमद पिता स्व गुलशेर अहमद निवासी नजीराबाद को चेक बाउंस के मामले में दोषी पाते हुए 1 वर्ष की कैद और 2 हजार रुपए के जुर्माने से दंडित किया है। यह मामला अदालत में वर्ष 2014 से विचाराधीन था। हाईकोर्ट ने इस मामले पर 30 जून फैसला सुनाने को कहा था।

यह है पूरा मामला…

अभियोजन पक्ष के अधिवक्ता अनिल निगम ने बताया कि पूर्व मंत्री सईद अहमद ने अपने पुत्र अल्तमश अहमद और शैलेश त्रिपाठी पिता रामावतार त्रिपाठी के साथ मिलकर ने एक फर्म नेशनल ट्रांसपोर्ट के नाम से बनाई थी। बाद में सईद अहमद ने जनवरी 2011 के एक पत्र के जरिए 2 अप्रैल 2011 को इस फर्म से खुद को अलग करते हुए रिटायरमेंट ले लिया। उस वक्त फर्म के पास 10 लाख 89 हजार कैश इन हैंड समेत 12 लाख 87 हजार 596 रुपए की पूंजी शेष थी। जो पार्टनर शैलेश त्रिपाठी पिता रामावतार त्रिपाठी को दी जाना थी सईद अहमद ने इस राशि के भुगतान के लिए शैलेश त्रिपाठी को एक दूसरी फर्म नेशनल ट्रांसपोर्ट कार्गो एंड कैरियर का 12 लाख 87 हजार 596 रुपए का चेक दे दिया। लेकिन यह चेक बैंक में भुगतान के लिए प्रस्तुत करने पर अनादरित हो गया। इस राशि के भुगतान के लिए शैलेश त्रिपाठी ने कई बार सईद अहमद से चर्चा की लेकिन जब मामला नहीं सुलझा तो अदालत में प्रकरण पेश किया गया। अधिवक्ता अनिल निगम ने बताया कि पूर्व मंत्री को इस मामले में अदालत से जमानत भी मिल गई है।

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