छत्तीसगढ़बिलासपुर

कार में लगाई नीली बत्ती और पुलिस बनकर लूट लिए 10 लाख रुपये का पान मसाला, छह आरोपी गिरफ्तार …

बिलासपुर । राजश्री गुटखा लूट कांड का राज पुलिस ने सुलझा लिया है। इस लूट का मास्टर माइंड पहले फैक्ट्री में ही कार चलाने का काम करता था। उसे गाड़ियों के आने वा जाने की परफेक्ट जानकारी थी। कम समय में ज्यादा पैसा कमाने और लखपति बनने का सपना संजाये युवाओं ने अपराध की राह चुना और अपने दोस्तों को भी शामिल कर उनका भी करियर बर्बाद कर दिया। गिरोह ने पुलिस कर्मी बनकर वारदात को अंजाम दिया था। लूट की वारदात को अंजाम देने के लिए आरोपियों ने केवीयू वाहन में नीली बत्ती भी लगाया था। गुटखा खपाने के चक्कर में आरोपियों के लूट का राज खुल गया।

पुलिस ने 6 आरोपियों से गुटखा, कार, मेटाडोर, टाटा मैजिक वाहन और 6 मोबाइल समेत 25 लाख का माल जब्त किया गया है। आरोपी राकेश नायडू पहले गुटखा फैक्टरी में गाड़ी चलाता था। उसे गुटखा गाड़ी निकलने के समय की पूरी जानकारी थी। आरोपी कम समय में ज्यादा पैसा कमाना चाहते थे। यही वजह है कि उसने अपने साथियों के साथ मिलकर पुलिस बनकर गुटखा गाड़ी को लूटने की योजना बनाई।

बिलासपुर एसपी पारुल माथुर ने बताया कि सिरगिट्टी इंडस्ट्रीयल एरिया में राजश्री गुटखा की फैक्ट्री हैं। कोरबा जिले के ऑर्डर पर कंपनी से मेटाडोर 407 में लगभग 10 लाख का पान मसाला लोड कर चालक कोरमी निवासी विजय करण निकला था। सोमवार सुबह 6 बजे वह धुमा चौक के पास पहुंचा तो स्लेटी रंग की कार में सवार कुछ बदमाश पहुंचे और उन्होंने कार से ओवरटेक करके पहले 407 को रोका फिर चालक विजय को अपनी कार में बैठाया। इस दौरान आरोपियों ने वाहन में नीली बत्ती लगा रखा था। सायरन की आवाज सुनकर ड्राइवर उन्हें पुलिस कर्मी समझ बैठा था। आरोपी ड्राइवर के साथ मारपीट कर पान मसाला लोड 407 वाहन चलाते हुए ले गए थे। कंपनी ने पान मसाला लूट की सूचना तोरवा थाने को दी थी, जिसके बाद पुलिस ने चारों तरफ घेराबंदी कर लुटेरों की तलाश शुरू की।

लूट के बाद तोरवा थाना प्रभारी सुरेंद्र स्वर्णकार, सिरगिट्टी थाना प्रभारी फैजुल होदा शाह, मस्तूरी थानेदार प्रकाश कांत के अलावा साईबर सेल प्रभारी प्रदीप आर्या ने अलग-अलग दिशाओं पर टीमों को भेजकर आरोपियों का सुराग जुटाना शुरू किया। पुलिस के बढ़ते दबाव से लुटेरों ने जयराम नगर के पास बोरसी गांव में 407 वाहन को छोड़ दिया था, लेकिन वाहन में लोड पान मसाला अपने साथ ले गए थे। आरोपियों ने एक दुकानदार को सस्ते में माल देने की बात कही थी और उनसे एडवांस भी लिया था। मुखबिर से मिली सूचना के आधार पर दुकान संचालक पर निगरानी रखी जा रही थी। कॉल ट्रेस करने पर पूरा मामला खुल गया। पुलिस ने पवन मौर्य (32 साल), राकेश नायडू (31 साल) व राघव सोनी (35 साल), मोहम्मद वसीम (32 साल), मोहम्मद बिलाल अंसारी (31), शेख साहिल उर्फ सोनू मन्सूरी (30 साल) को गिरफ्तार किया गया है। सभी आरोपियों को जेल भेज दिया गया है।

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