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कानून मंत्री कार्तिक सिंह को पद से हटाकर “गन्ना” पकड़ाया, विवाद के बाद मुख्यमंत्री नीतीश का बड़ा फैसला ….

पटना। बिहार में इस महीने हुए राजनीतिक उथल-पुथल के बाद राज्य में नीतीश कुमार नेतृत्व में ही महागठबंधन की सरकार बनी। नई सरकार के मंत्रियों का 16 अगस्त को राजभवन में शपथ ग्रहण हुआ। इस दौरान कार्तिक कुमार उर्फ कार्तिकेय सिंह ने भी शपथ ली और वे कानून मंत्री बनाए गए। हालांकि इसके तुरंत बाद वे विवादों में आ गए। खबर आई कि जिस दिन वे शपथ ले रहे थे, उसी दिन उन्हें अपहरण के एक मामले में कोर्ट में जाकर सरेंडर कर रहे थे। यह मुद्दा देशभर में छा गया। विपक्षी दल बीजेपी ने कार्तिक सिंह को बर्खास्त करने की मांग की।

बिहार की महागठबंधन सरकार में कानून मंत्री कार्तिक कुमार उर्फ कार्तिकेय सिंह को पद से हटाते हुए अब उन्हें गन्ना उद्योग विभाग का मंत्री बना दिया गया है। गन्ना उद्योग मंत्री शमीम अहमद को कानून विभाग का प्रभार सौंप दिया गया है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सलाह पर यह निर्णय लिया गया है। इस संबंध में आदेश जारी हो गए हैं। बता दें कि कार्तिक सिंह मंत्री पद की शपथ लेने के साथ ही उनके क्रिमिनल केस के चलते विवादों में आ गए थे।

कार्तिक मास्टर के नाम से मशहूर कार्तिकेय कुमार उर्फ कार्तिक सिंह महागठबंधन में आरजेडी कोटे से मंत्री हैं। वे जेल में बंद बाहुबली नेता और पूर्व विधायक अनंत सिंह के करीबी हैं। जिस केस में उनके खिलाफ वारंट निकला वो 2014 का है। कार्तिक पर आरोप है कि वे पटना के बिहटा में राजू सिंह के अपहरण में शामिल थे। इस केस में अनंत सिंह भी सह आरोपी हैं।

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