लेखक की कलम से
वट वृक्ष जहां वास है त्रिदेव का …
मान्यता हमारी वृक्ष पूजन की
उसमें करते देवता वास
ऐसा ही सुनती आ रही हूँ
मैं वट सावित्री का व्रत हूँ आज
वट सावित्री व्रत आओ मनाते हैं
ज्येष्ठ कृष्ण त्रयोदशी से पुर्णिमा तक
इसको पति की लंबी आयु के लिए
यमराज से भी लड़ गई सावित्री माँ।।
अपने पति सत्यवान के प्राण बचाए
पति की होती दीर्घायुवट सावित्री व्रत से
वट सावित्री का व्रत होता सौभाग्यशाली
घर की सुख-शांति में होती खुशहाली।
इस व्रत में सभी व्रती वट वृक्ष के
चारों ओर घूमकर रक्षा सूत्र बांधती हैं।
ऐसा करने से पति की आयु लंबी होती है।
ऐसा नानी दादी सब कहती है।
बरगद के पेड़ में ब्रह्मा, विष्णु और महेश
तीनों देवताओं का होता वास
व्रत में वट वृक्ष बेहद होता महत्वपूर्ण
सब मनोरथ होते इस व्रत को करके परिपूर्ण।
©डॉ मंजु सैनी, गाज़ियाबाद