धर्म

पुष्य नक्षत्र कब है अप्रैल में? क्या हैं संयोग?

 ज्योतिष शास्त्र में 27 नक्षत्रों में 8वें स्थान पर आने वाला पुष्य नक्षत्र, सभी नक्षत्रों का राजा माना गया है. इस नक्षत्र पर देवी लक्ष्मी, शनि देव और बृहस्पति का प्रभाव रहता है.

पुष्य नक्षत्र में खऱीदी गई कोई भी चीज लंबे समय तक उपयोगी रहती है और शुभ फल प्रदान करती है. यही वजह है कि हर महीने लोग खरीदारी, नए बिजनेस की शुरआत, मांगकिल काम और निवेश के लिए पुष्य नक्षत्र का इंतजार करते हैं. पुष्य नक्षत्र अप्रैल 2024 में कब है जानें

पुष्य नक्षत्र 2024 में कब ?

अप्रैल में पुष्य नक्षत्र 16 अप्रैल 2024 को है. इसी दिन चैत्र नवरात्रि की महाष्टमी भी मनाई जाएगी. मान्यता है कि पुष्य नक्षत्र में मांगलिक कार्य और सोना-चांदी, वाहन, संपत्ति आदि की खरीदारी करने से मां लक्ष्मी की सालभर कृपा बनी रहती है.

पुष्य नक्षत्र 2024 मुहूर्त

पंचांग के अनुसार मार्च में पुष्य नक्षत्र की शुरुआत 16 अप्रैल 2024 को प्रात: 03 बजकर 05 मिनट से होगी और इसका समापन 17 अप्रैल 2024 को प्रात: 05 बजकर 16 मिनट पर होगा.

पुष्य नक्षत्र है वृद्धिकर्ता

पुष्य नक्षत्र को ऋग्वेद में वृद्धिकर्ता, मंगलकर्ता और आनंदकर्ता कहा गया है. धार्मिक अनुष्ठानों के लिए इस योग का चयन श्रेष्ठ माना जाता है. पुष्य नक्षत्र में विवाह वर्जित है लेकिन विवाह या समस्त मांगलिक कार्य के लिए खरीदी जैसे सोना-चांदी, वाहन, भूमि आदि खरीदना बेहद शुभ होता है. चंद्र वर्ष के अनुसार महीने में एक दिन चंद्रमा पुष्य नक्षत्र के साथ संयोग करता है, ऐसे में इस मिलन को बेहद शुभ माना गया है. पुष्य नक्षत्र में जन्म लेने वाले परोपकारी, सर्वगुण संपन्न और बेहद भाग्यशाली होते हैं.

पुष्य नक्षत्र में कौन से काम करें

    पुष्य नक्षत्र में नवीन बही खाते या लेखन सामग्री को शुभ मुहूर्त में खरीदकर अपने व्यापारिक स्थल पर स्थापित करें. इससे लक्ष्मी सदा मेहरबान रहेंगी.
    इस दिन आभूषण, सोना-चांदी, रत्न आदि कीमती वस्तुएं खरीना शुभ होता है.
    पुष्य नक्षत्र में सूर्योदय और सूर्यास्त के समय मां लक्ष्मी के समक्ष घी का दीपक लगाकर मंत्रों का जाप करने से धन में कभी कमी नहीं होती.

 

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