मध्य प्रदेश

टेरर फंडिंग में एनआईए ने इंदौर के बड़े कारोबारी अब्दुल करीम बेकरीवाला को किया गिरफ्तार, कई आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त …

भोपाल/इंदौर। गुरुवार को देशभर में एनआईए द्वारा मारे गए छापों में इंदौर का बड़े कारोबारी और पीएफआई के प्रदेश अध्यक्ष अब्दुल करीम बेकरीवाला को भी गिरफ्तार किया गया है. बेकरीवाला की गिरफ्तारी टेरर फंडिग के मामले में हुई है. इसी साल रामनवमी पर खरगोन में हुए दंगों के तार भी उससे जुड़ रहे हैं. टेरर फंडिग मामले में एनआईए ने देशभर के 13 राज्यों में छापे मारे हैं. इसमें 106 लोगों को गिरफ्तार किया गया. इंदौर–उज्जैन में भी पीएफआई के ठिकानों पर छापामार कार्रवाई कर चार लोगों को गिरफ्तार किया है. इनमें तीन लोग इंदौर से और एक को उज्जैन से गिरफ्तार किया गया है.

इंदौर में एनआईए ने जवाहर मार्ग पर बने पीएफआई के ऑफिस में छापा मारकर कई आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए. एनआईए ने आधी रात के बाद सदर बाजार थाना क्षेत्र, खजराना, छतरीपुरा, खातीवाला टैंक और छीपा बाखल इलाके में दबिश देकर पीएफआई के प्रदेश अध्यक्ष अब्दुल करीम बेकरीवाला और दो पदाधिकारी अब्दुल जावेद और रफीक को हिरासत में लिया है. वहीं, उज्जैन से पीएफआई के प्रदेश महासचिव जमील शेख को भी गिरफ्तार किया गया है. इन सभी को एनआईए दिल्ली लेकर चली गयी, वहां इनसे पूछताछ की जाएगी. टेरर फंडिग मामले में एनआईए ने देशभर के 13 राज्यों में छापे मारे हैं. इसमें 106 लोगों को गिरफ्तार किया गया. इंदौर–उज्जैन से गिरफ्तार चारों लोगों को एनआईए दिल्ली लेकर चली गयी. वहां इनसे पूछताछ की जा रही है.

अब्दुल करीम बेकरीवाला इंदौर में बड़ा नाम

एनआईए ने इंदौर में अब्दुल करीम बेकरीवाला के घर की तलाशी में कुछ किताबें और दस्तावेज जब्त किए. इन सभी को लेकर एनआईए दिल्ली रवाना हो गई, जिन भी कार्यकर्ताओं को एनआईए की टीम ने अपनी हिरासत में लिया है, वे पहले प्रतिबंधित संगठन सिमी के कार्यकर्ता रहे हैं. सिमी पर प्रतिबंध लगने के बाद इन लोगों ने पीएफआई को ज्वाइन कर लिया था. प्रदेश अध्यक्ष अब्दुल करीम बेकरीवाला का इंदौर में बेकरी का बड़ा कामकाज है. वह बेकरी के व्यवसाय के बीच पीएफआई के लिए फंडिंग का काम करता था. इसी तरह से अब्दुल जावेद और रफीक छोटा मोटा कामकाज करते हुए पीएफआई के लिए फंडिंग का काम करते थे.

पीएफआई पर प्रतिबंध की तैयारी

गुरुवार को इंदौर पहुंचे मध्यप्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि एनआईए ने देशभर में कार्रवाई की है. करीब 100 से ज्यादा लोगों को पकड़ा है. इंदौर में भी कार्रवाई की गई है. मैं इस बारे में ज्यादा जानकारी साझा करना ठीक नहीं समझता हूं. जहां तक पीएफआई पर प्रतिबंध की बात है, इस पर विचार चल रहा है. हालांकि पीएफआई एक राष्ट्रव्यापी संगठन है, इसलिए इस पर प्रतिबंध का फैसला केंद्र सरकार लेगी. इंदौर में रेड करन वाली एनआईए की टीम में 20 से ज्यादा अधिकारी शामिल थे. इनमें 10-11 लेडी अफसर भी शामिल थीं. ये कार्रवाई रात 3 बजे से सुबह 7 बजे तक चली. जिस बिल्डिंग में पीएफआई का ऑफिस हैं, वहां के आसपास के सीसीटीवी कैमरों की हार्ड डिस्क भी एनआईए के अधिकारी ले गए हैं.

मालवा निमाड़ में पीएफआई नेटवर्क

पिछले कई दिन से ये बात सामने आ रही थी कि पीएफआई को अलग-अलग जगहों से कई तरह से फंडिंग हो रही है. इसी के बाद ये कार्रवाई की गई है. इंदौर में पहले पीएफआई का ऑफिस बंबई बाजार की ताज बिल्डिंग के नजदीक था. वहां पर भी पंढरीनाथ और सराफा थाना पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई की थी. बाद में इसे जवाहर मार्ग पर शुरू कर दिया गया. पीएफआई संगठन मालवा-निमाड़ के इलाके में काफी एक्टिव बताया जा रहा है. सिमी भी इसी इलाके में सक्रिय रहा है. अभी हाल ही में खरगोन में हुए दंगों में पीएफआई के शामिल होने की बात कही जाती रही है.

पीएफआई का इतिहास

17 फरवरी 2021 को उज्जैन में पीएफआई ने अपने स्थापना दिवस पर सभा में आपत्तिजनक भाषा का उपयोग किया था. इस दौरान संगठन का झंडा फहराया गया था. कोविड प्रोटोकाल तोड़ने के कारण पुलिस ने पीएफआई के सदस्यों पर मामला भी दर्ज किया था. इस तरह नवंबर 2021 में भी पीएफआई के छह सदस्यों पर केस दर्ज किए गए थे. पीएफआई सदस्यों ने त्रिपुरा हिंसा के विरोध में कलेक्टर आशीष सिंह को ज्ञापन दिया था, जिसमें आपत्तिजनक भाषा का उपयोग किया गया था. इस पर उज्जैन की माधवनगर पुलिस ने धारा 188, 505 (1) सी, 505 (2), 295 ए, 153 ए में प्रकरण दर्ज किया था. हालांकि, इन धाराओं में सात साल से कम की सजा होने पर सभी को थाने से ही नोटिस देकर छोड़ दिया गया था.

इंदौर कलेक्टर मनीष सिंह बोले…

इंदौर कलेक्टर मनीष सिंह ने बताया कि एनआईए ने हमसे अफसरों की टीम ली थी. पुलिस से भी बल मांगा गया था. इंदौर में भी एक साल पहले मुस्लिम युवाओं को भड़काने का मामला सामने आया था, जिसमें चूड़ी वाले केस में सेंट्रल कोतवाली थाने पर हमला किया गया था. इसके बाद इंदौर प्रशासन ने पीएफआई से जुड़े अब्दुल रऊफ को जिलाबदर और जाहिद पठान पर रासुका की कार्रवाई की गई है. हम ऐसे लोगों पर लगातार दबाव बनाए हुए हैं, जो युवाओं को गुमराह कर राष्ट्रविरोधी काम में लगा रहे हैं.

 

 

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