मध्य प्रदेश

नेपरी बृजगढी सड़क जलभराव की समस्या का हुआ समाधान, किसानों ने मनाया जीत का जश्न

कैलारस
नेपरी से बृजगढी की ओर जाने वाली सड़क को ब्रॉड गेज ट्रैक के पुल के नीचे जल भराव की समस्या महीनों से बाधित किए हुए थी। इस क्षेत्र में लगभग 50 गांव के किसानों का आवागमन प्रभावित हो रहा था। बच्चे स्कूल नहीं जा पा रहे थे, अस्पताल पहुंचना आमजन का दूभर हो गया। यहां तक कि किसान खेतों पर भी नहीं पहुंच पा रहे थे। इस जल भराव स्थल पर दो छोटे-छोटे मासूम बच्चे पानी में गिरकर असमय काल कलवित हो गए। सैकड़ो वाहन खराब हो गए।

सैकड़ो लोग महिला, पुरुष, बच्चे, वृद्ध चोटिल हो गए। सरकार और प्रशासन किसानों व आमजन की सुनने के लिए तैयार ही नहीं थे। अन्ततः किसानों ने 05 अगस्त से जल भराव स्थल के पास जोरदार आंदोलन की शुरुआत की। अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन की शुरुआत की गई। उसके बाद भी जब सुनवाई नहीं हुई तो सैकड़ो की संख्या में किसानों ने एकत्रित होकर आंदोलन स्थल से रैली निकालकर कल तहसील कार्यालय पहुंच कर घेराव करते हुए आगे आंदोलन की चेतावनी  दी। इस सबके चलते प्रशासन व सरकार सक्रिय हुए। पोकलेन और जेसीबी मशीन मंगाकर तत्काल कच्चा नाला खोदकर पानी कुंवारी नदी में निकाल दिया गया। सड़क साफ कर दी गई। इससे पूरे क्षेत्र में खुशी की लहर दौड़ गई।

किसानों ने बड़ी संख्या में एकत्रित होकर आंदोलन स्थल पर आज जीत का जश्न मनाया। फल वितरण किये। आंदोलन के नेताओं का स्वागत किया। इस मौके पर स्थानीय तहसीलदार श्री विश्राम बघेल ने आकर नाले को पक्का करने का आश्वासन दिया। उसके बाद किसानों ने आंदोलन को समाप्ति की घोषणा की। इस मौके किसानों कीआम सभा को मध्य प्रदेश किसान सभा के प्रदेश अध्यक्ष अशोक तिवारी , कार्यकारी जिला अध्यक्ष गयाराम  सिंह धाकड, जगन्नाथ सिंह धाकड़, भैरूलाल धाकड़, राजवीर सिंह प्रदेश अध्यक्ष एस एफ आई,बृजराज सिंह सिकरवार सहित कई लोगों ने संबोधित किया। सभी ने जीत की खुशी का इजहार करते हुए किसानों की एकता और संघर्ष को मजबूत बनाने की आम जनों से अपील की।

आंदोलन में  सर्वश्री कन्हैयालाल , रामसिंह कुशवाहा, विजय सिंह कुशवाह, जसवंत सिंह सिकरवार, निरंजन शाक्य, संजयसिंह सिकरवार, मदनलाल धाकड़, दाताराम धाकड़, रामहेत धाकड़, नवाव सिंह धाकड़, राजेन्द्र धाकड़, भूपेंद्र धाकड़, प्रदीप धाकड़ सुरेश चंद्र धाकड़, मातादीन कुशवाह रामप्रकाश जाटव, आदि ने विशेष भूमिका अदा की।अंत में जोरदार नारेबाजी के साथ किसान आंदोलन समाप्त हुआ। किसानों ने जीत के लिए सहयोग करने वाले आम जनों किसानों सभी को बधाई दी और आगामी दिनों में संगठन व एकता को मजबूत करने और राष्ट्रीय व स्थानीय मुद्दों पर किसान सभा के आव्हानों पर अमल करने का भी निर्णय लिया है।

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