मध्य प्रदेश

सीएम मोहन यादव का बड़ा एलान, एक बार फिर सड़कों पर सरपट दौड़ेंगी Pink Bus

भोपाल

 मध्य प्रदेश में लोकसभा चुनाव के पहले एक बार फिर सरकार ने प्रदेश में पिंक बस चलाने का ऐलान कर दिया है. पिंक बस महिलाओं के लिए काफी सुविधाजनक मानी जाती है. पिंक बस में चालक और परिचालक दोनों ही महिलाएं होती है. इसके अलावा इसमें दिव्यांग और वरिष्ठ नागरिकों के बैठने की सीट भी आरक्षित होती है.

मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने ऐलान किया है कि मध्य प्रदेश की सभी 16 नगर निगम के अलावा अन्य बड़े शहरों में पिंक बस चलाई जाएगी. इस समय मध्य प्रदेश में अमृत मिशन और जवाहरलाल नेहरू शहरी नवीकरण योजना के तहत 13000 बसों का संचालन किया जा रहा है. लोकसभा चुनाव के पहले महिलाओं को लेकर सरकार की यह बड़ी सौगात मानी जा रही है. पिंक बस महिलाओं की पहली पसंद मानी जाती है. पिंक बस महिलाओं की सुविधा के साथ-साथ सुरक्षा को लेकर भी उनकी पहली पसंद है.

मुख्यमंत्री ने किया पिंक बस का वादा
पिंक बस चलने और टिकट काटने की जिम्मेदारी महिलाओं पर होती है. इसके लिए महिलाओं को ट्रेनिंग दी जाती है तथा उनके लाइसेंस भी बनवा जाते हैं. महिला चालक और परिचालक की वजह से महिलाएं इन बसों में खुद को ज्यादा सुरक्षित मानती है. मुख्यमंत्री डॉक्टर मोहन यादव ने वादा किया है कि मध्य प्रदेश में फिर पिंक बस चलाई जाएगी. पूर्व में प्रदेश की व्यावसायिक राजधानी इंदौर में दो बस से चलाई गई थी.

सुविधा और सुरक्षा की दृष्टि से नंबर वन
पिंक बस महिलाओं की सुरक्षा ही नहीं बल्कि उनकी सुविधा के लिए भी नंबर वन मानी जाती है. इन बसों में पैनिक बटन भी होता है. इसके अलावा इसका संचालन जीपीएस के माध्यम से मॉनिटरिंग करते हुए किया जाता है. बस की कमान को लेकर कंट्रोल रूम में भी जानकारी सांझा होती रहती है. इस बस में केवल महिलाएं ही सफर कर सकती है. बस का कलर पिंक होने की वजह से दूर से ही समझ आ जाता है कि यह बस केवल महिलाओं के लिए है. पिंक बस में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाने की भी योजना है.

Back to top button