छत्तीसगढ़

परिवार में समरसता बनाने के लिए शिव चरित्र का दर्शन करें- श्रवण कुमार

किरवई के पुजेरीन दाई मन्दिर प्रांगण में चल रहा है सप्तदिवसीय श्री राम चरित मानस महायज्ञ

राजिम। आदर्श ग्राम किरवई के माँ पुजेरीन दाई मन्दिर प्रांगण में चल रहे सप्तदिवसिय श्री राम चरित मानस महायज्ञ के द्वितीय दिवस व्यासपीठ से शिव विवाह के कथा प्रसंग पर हजारों श्रोताओं से भरी मानस सभा को सम्बोधित करते हुए श्री तुलसी के राम मानस परिवार राजिम के व्याख्याकार श्रवण कुमार साहू,”प्रखर”ने कहा कि शिव पार्वती का विवाह जग कल्याण के लिए हुआ था, समाज मे शिव जी के परिवार प्रबंधन अपने आप मे बहुत ही विचित्र और अद्भुत है, अलग अलग गुण ,राशि,स्वभाव के होते हुए भी परिवार में समरसता का जो उत्कृष्ट उदाहरण देखने को मिलता है, वह अन्यत्र कहीं नहीं मिलता,इनसे हमें प्रेरणा लेकर जीवन में उतारना चाहिए। शिक्षकों से सजी यह मानस परिवार गत 6वर्षों से छत्तीसगढ़ के कोने कोने में श्रीराम कथा के प्रचार प्रसार में लगे हुए है, छत्तीसगढ़ी लोकविधा से सजी इस मण्डली में भारत लाल साहू हारमोनियम, धनेश ध्रुव नाल, रामकुमार देवांगन तबला, बलिराम पटेल बेंजो, चंदन यादव बांसुरी, भूपेंद्र सोनकर गायक एवम कोमल साहू घुंघरू के साथ ताल देते हुए मनमोहक प्रस्तुति देते हैं। ग्रामवासियों ने बताया कि ग्राम किरवई में यह आयोजन गत 14 वर्षों से ब्रम्हलीन संत कवि पवन दीवान, एवं ब्रम्हलीन संत सियाभुनेश्वरी शरण महाराज प्रेरणा से शुरू हुआ, जो आज तक सिरकट्टी धाम के महामंडलेश्वर गोवर्धनशरण महाराज के मार्गदर्शन में एवं समस्त ग्रामवासियों की सहयोग से सतत जारी हैं।जिसमें प्रतिदिन प्रातः एवम संध्या आरती के साथ साथ यज्ञ हवन पूजन एवं विद्वत जनों का मानस एवम आध्यात्मिक चिंतन होता है, जिसे सुनने के लिए प्रतिदिन हजारों की संख्या में आस पास के श्रद्धालुओं का मेला लगा रहता है।

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