नई दिल्ली

उत्तर प्रदेश के बाराबंकी में पुलिसकर्मियों पर हमले के मामले में मुकदमा, 32 नामजद 150 अज्ञात …

नई दिल्ली (पंकज यादव) । बाराबंकी जिले के तहसील परिसर में शुक्रवार की रात को विवादित स्थल पर तैनात पुलिस बल पर बड़ी संख्या में लोगों के धावा बोलकर हमला व पथराव करने के मामले में देर रात मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। इस मामले में 32 लोगों को नामजद करते हुए 150 अज्ञात लोगों के खिलाफ जानलेवा हमले, बलवा, मारपीट आदि का मामला दर्ज हुआ है। घटना की गंभीरता को देखते हुए शनिवार को आईजी फैजाबाद डा. संजीव गुप्ता ने भी घटना स्थल का निरीक्षण किया।

रामसनेहीघाट तहसील में आवासीय परिसर के समीप एक भवन में रहने वाले कथित लोगों से तहसील प्रशासन ने चार दिन पहले आईडी मांगा तो वह उसके बाद फरार हो गए थे। इस मामले में बीते गुरुवार को तहसील प्रशासन ने उक्त विवादित स्थल पर बैरिकेडिंग कराकर सील कर पुलिस तैनात कर दी थी। उक्त स्थल को धार्मिक बताते हुए एक समुदाय के लोग शुक्रवार को दोपहर पहुंचे मगर भारी पुलिस बल को देख वापस लौट गए थे।

इस घटना में स्थित उस समय भयावह हो गई। जब शुक्रवार की रात को करीब आठ बजे डेढ़ सौ से अधिक लोग लाठी-डंडे व ईंट-पत्थर से लैस होकर विवादित स्थल पहुंचे और तैनात पुलिस बल पर पथराव के साथ मारपीट शुरू कर दी। दो दरोगा समेत पांच लोग घायल हो गए। सूचना पाकर रामसनेहीघाट थाने की पुलिस पहुंची और आंसू गैस के गोले व रबर की गोलिया दगाकर उपद्रवियों को खदेड़ा था। इस घटना की सूचना मिलते ही एक दर्जन थानों की पुलिस-पीएसी के साथ डीएम व एसपी समेत कई अधिकारी आधी रात तक रामसनेहीघाट में ही डटे रहे थे।

इस घटना में घायल दरोगा लक्ष्मीकांत सिंह, रमेश चन्द्र पांडे, सिपाही योगेन्द्र चौधरी व तहसील के नायब नारिज राम लखन का मेडिकल परीक्षण शुक्रवार को देर रात सीएचसी में कराया गया। इसके बाद थाने के दरोगा महेन्द्र सिंह ने मुकदमा दर्ज कराया। पुलिस दल पर जानलेवा हमला करने, हथियारों से लैस होकर बलवा करने आदि कई धाराओं में 39 लोगों को नामजद व 150 अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। शुक्रवार को पूरी रात छापेमारी करके पुलिस ने 22 संदिग्धों को हिरासत में ले लिया है।

पुलिसकर्मी पर हमला व उपद्रव की घटना को लेकर आईजी फैजाबाद रेंज डा. संजीव गुप्ता करीब 11 बजे रामसनेहीघाट तहसील पहुंचे। जहां पहले से ही एसपी यमुना प्रसाद समेत सभी अधिकारी मौजूद थे। घटनास्थल का निरीक्षण करने के बाद आईजी ने एसपी व अन्य अधिकारियों से पूरी घटना की जानकारी ली और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए।

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