मध्य प्रदेश

विधानसभा सत्र दूसरा दिन: नेता प्रतिपक्ष बोले- सरकार ने झूठी तारीफ कराई, सीएम ने कहा- राज्यपाल संवैधानिक पद, यह लोकतंत्र की गरिमा गिराने वाली बात

राज्यपाल के बजट अभिभाषण पर चर्चा के बाद कांग्रेस कटौती प्रस्ताव लाएगी

भोपाल। मध्यप्रदेश विधानसभा सत्र के आज दूसरे दिन राज्यपाल के बजट अभिभाषण पर चर्चा के बाद कांग्रेस कटौती प्रस्ताव लाएगी। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि राज्यपाल से झूठी तारीफ कराई गई। सरकार ने असफलता का सफलता पूर्वक व्याख्यान कराया है। इस पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस झूठ बोलने और परोसने की दुकान बनकर रह गई है। राज्यपाल एक संवैधानिक पद है। पद की गरिमा तो रखिये, ये लोकतंत्र की गरिमा गिराने वाली बात है।

राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा करते हुए नेता प्रतिपक्ष गोविंद सिंह ने कहा कि विधानसभा में राज्यपाल ने सरकार की असफल योजनाओं का सफलतापूर्वक बखान किया है। शिवराज सरकार ने राज्यपाल से झूठी वाहवाही कराई है। मैं इसकी निंदा करता हूं। हम राज्यपाल के बजट अभिभाषण के खिलाफ कटौती प्रस्ताव ला रहे हैं। हमारे विधायकों ने कटौती प्रस्ताव तैयार किए हैं। सरकार ने राज्यपाल से झूठी तारीफ कराई है। असफलता का सफलतापूर्वक व्याख्यान किया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश को बीजेपी ने कर्ज में डाल दिया है। हमारे साथियों ने कटौती प्रस्ताव तैयार किया है हम उस पर चर्चा करेंगे। सीधी में आदिवासियों की मौत पर ध्यानाकर्षण लगाया गया है, उस पर भी चर्चा होगी।

कटौती प्रस्ताव पर कमलनाथ बोले…

नेता प्रतिपक्ष के कटौती प्रस्ताव लाने वाले बयान पर पीसीसी चीफ कमलनाथ ने कहा कि बजट आने दो, पिछले साल का बजट आप देखिए कितना वितरण हुआ, यह बजट एक दिखावा है। विकास यात्रा तो एक नाटक बन गया, गांव में मनोरंजन का विषय बन गया है। सीएम शिवराज को यह बात समझ क्यों नहीं आ रही है। कमलनाथ ने डिजिटल बजट को लेकर कहा कि ई बजट और परंपरागत बजट दोनों होना चाहिए।

कांग्रेस की टिप्पणी पर सीएम ने किया पलटवार

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने राज्यपाल के अभिभाषण पर कांग्रेस की टिप्पणी को लोकतंत्र की गरिमा गिराने वाली बात बताया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस झूठ बोलने और परोसने की दुकान है। मेरे बारे में झूठ बोले, आरोप लगाते हैं, लेकिन कल कमलनाथ ने राज्यपाल के अभिभाषण पर अशोभनीय टिप्पणी की है। झूठ बोलने का आरोप लगाया है। राज्यपाल संवैधानिक पद है। पद की तो मर्यादा रखिए, ये लोकतंत्र की गरिमा गिराने वाली बात है।

सदन नहीं चलने देना चाहती कांग्रेस: यशपाल सिसोदिया

विधानसभा के मुख्य सचेतक विधायक यशपाल सिंह सिसोदिया ने कहा कि कांग्रेस सदन चलने ही नहीं देना चाहती है। कल राज्यपाल के बजट अभिभाषण के मौके पर तमाम कांग्रेसी विधायक चुप्पी साधे हुए थे। बोलना तो चाहते थे, लेकिन सरकार की तारीफों के बीच कैसे बोलते। कांग्रेस के खराब हालात पिछली बार पेश किए गए अविश्वास प्रस्ताव में भी देखने को मिले थे।

पूर्व मंत्री तरुण भनोट ने कहा- अगला बजट कांग्रेस सरकार पेश करेगी

पूर्व मंत्री तरुण भनोट ने कहा कि सरकार पूरी तरह से कर्ज में डूब चुकी है। उन्होंने दावा किया कि अगला बजट कांग्रेस की सरकार पेश करेगी। पूर्व मंत्री तरुण भनोट का ने कहा कि सरकार ने 18 साल से झूठ का पुलिंदा लहराया है। हम सरकार से मांग करते हैं कि अब सरकार हिसाब यात्रा निकालें। पिछले 18 सालों का हिसाब दिया जाए। उन्होंने दावा कि अगला बजट कांग्रेस की सरकार पेश करेगी। पिछले आर्थिक सर्वेक्षण में सभी दरें गलत तरीके से प्रस्तुत की गई थी। बीते 18 साल में सरकार ने जो घोषणाएं की हैं, आज तक धरातल पर नहीं उतरी हैं। सरकार कर्ज पर कर्ज लेती जा रही है। सरकार पूरी तरह कर्ज में डूब चुकी है। करोड़ों से भी ज्यादा का कर्ज अब तक लिया जा चुका है।

कांग्रेस कभी बजट पेश नहीं कर पाएगी- भूपेंद्र सिंह

तरुण भनोट के अगला बजट कांग्रेस द्वारा पेश करने के बयान पर नगरीय प्रशासन मंत्री भूपेंद्र सिंह ने पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस अगला क्या, कभी बजट पेश ही नहीं कर पाएगी। कांग्रेस पूरे देश में खत्म हो रही है। कहीं कांग्रेस बची नहीं है, बुरी स्थिति है, उनके पास कहने को कुछ नहीं है।

बीजेपी कार्यालय में सरकारी पैसों से खाना खियाला जा रहा : जीतू पटवारी

पूर्व मंत्री जीतू पटवारी ने बीजेपी कार्यालय में सरकारी पैसे से खाना खिलाने का मुद्दा फिर उठाया। उन्होंने कहा कि सरकार कर्ज लेकर अपने कार्यकर्ताओं पर पैसे खर्च कर रही है। बीजेपी कार्यालय में 9 करोड़ रुपये खाने पर खर्च किया। सरकार ने 40 करोड़ से ज्यादा का अपने कार्यकर्ताओ को चाय नाश्ता और खाना खिलाया है। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदेश पर चार लाख करोड़ का कर्जा है। रिजर्व बैंक कर्ज नहीं भरने पर शासकीय संपत्तियों को बेच रहा है। सरकारी संपत्तियों को बेच कर सरकार कर्ज ले रही है।

जीतू पटवारी बोले- चोरी, सीना जोरी और गुमराह कर रही है सरकार

जीतू पटवारी ने कहा कि पिछली बार विधानसभा में मैंने सवाल किया था तो सरकार ने कहा कि गुमराह किया जा रहा है। बिल तक मुझे दिया नहीं गया। सरकार चोरी, सीना जोरी और गुमराह कर रही है। बार-बार सवाल पूछने पर भी विधायकों को जवाब नहीं दिया जा रहा है। किसान कर्जमाफी का 9 बार प्रश्न पूछा, किसानों की आय दोगुनी की जाने की बात पर जानकारी एकत्रित करने की बात कह रहे हैं। 9 बार ये बात कही गई। इन्वेस्टर मीट के खर्चे पर फाइलें जलने का हवाला दिया गया। सवालों का जवाब न देने के लिए विधानसभा अध्यक्ष के सामने आपत्ति रखेंगे।

कर्ज लेना रूटीन प्रक्रिया : मंत्री सिसौदिया

मंत्री महेंद्र सिसोदिया ने कहा कि कर्ज लेना सरकार की रूटीन प्रक्रिया है। हजारों करोड़ की घोषणाओं पर मंत्री बोले कि नामुमकिन को भी जो मुमकिन कर दे उसी का नाम शिवराज है। वहीं बिजली कटौती को लेकर कहा कि पर्याप्त बिजली एग्रीकल्चर और घरेलू उपयोग के लिए दी जा रही है। उन लोगों की बिजली काटी गई है, जिन्होंने बिल नहीं दिए।

30 दिन में 5वीं बार लेगी 3 हजार करोड़ का लोन

बता दें कि मध्यप्रदेश सरकार 1 मार्च को बजट से पहले कर्ज लेगी। सरकार 30 दिन में 5वीं बार कर्ज लेने जा रही है। 20 साल के लिए आईबीआई के माध्यम से 3 हज़ार करोड़ रुपये का लोन लेगी। 1 मार्च 2043 तक ऋण चुकाना होगा। जानकारी के मुताबिक, विकास परियोजनाओं और वित्तीय गतिविधियों को बढ़ावा देने के उद्देश्य से यह कर्ज लिया जा रहा है।

बजट के जरिये कांग्रेस ने ब्यूरोक्रेसी पर भी साधा निशाना

कांग्रेस ने बजट के जरिए ब्यूरोक्रेसी पर निशाना साधा है। पूर्व वित्त मंत्री तरुण भनोट ने कहा कि ये बजट मंत्रियों ने नहीं, बल्कि ब्यूरोक्रेसी ने बनाया है। इसलिए जनता के हित में पिछले कई सालों से बजट नहीं आया है। वित्त मंत्री ने अपनी बुद्धि का इस्तेमाल नहीं किया। अधिकारियों के बनाए हुए बजट से मध्यप्रदेश कर्ज में डूबा है। प्रदेश में ब्यूरोक्रेसी पूरी तरह हावी है।

सारंग का पलटवार: बोले- पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को चमकाना कमलनाथ की स्टाइल

इन आरोपों पर पलटवार करते हुए मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि कांग्रेस दबाव की राजनीति करती है। ब्यूरोक्रेसी पर दबाल डालना चाहती है। कांग्रेस केवल नकारात्मक बातें करती है, ये दबाव की राजनीति करते हैं। दबाव बनाना कमलानाथ की राजनीति की स्टाइल है। कभी पुलिस, कभी अधिकारियों को चमकाना। उनको लगता है इसी तरह वो राजनीति करेंगे, जबकि लोकतंत्र में कार्यपालिका, न्यायपालिका और विधान पालिका के अपने कर्तव्य हैं। उनसे हमें छेड़छाड़ नहीं करना चाहिए।

झूमा सोलंकी ने कहा- सरकार ने पंचायत सचिवों के सवाल का पूर्ण उत्तर नहीं दिया

कांग्रेस विधायक झूमा सोलंकी ने सदन में आरोप लगाया कि ग्राम पंचायतों के सचिवों के सवाल का पूर्ण उत्तर नहीं दिया गया। सातवें वेतनमान को लेकर सवाल पूछा था। इस पर पंचायत मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया ने जवाब में कहा कि वेतनमान के संबंध में कमेटी बनाई गई है। सातवां वेतनमान और नियमितीकरण की मांग को लेकर 3 माह के अंदर निराकरण होगा। विधायक ने कहा था कि वेतनमान समिति की बैठक ही नहीं हुई है। मंत्री ने कहा कि 3 मार्च को बैठक होगी।

दिवंगत नेताओं को दी गई श्रद्धांजलि

पूर्व में दूसरे दिन की सदन की कार्यवाही शुरू होते ही सीएम शिवराज सिंह चौहान ने स्व. नेताओं को श्रद्धांजलि दी। मध्य प्रदेश के पूर्व राज्यपाल ओपी कोहली, पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव और पूर्व केंद्रीय मंत्री शांति भूषण के निधन का उल्लेख किया। उसके बाद विधानसभा की कार्यवाही 10 मिनट के लिए स्थगित कर दी गई। फिर प्रश्नोत्तर का दौर शुरू हुआ।

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