पेण्ड्रा के कवि आशुतोष के कविताओं की गूँज पहुँची दिल्ली तक
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पेण्ड्रा। निरंतर साधना करते हुए समर्पित भाव से यदि कर्म किया जाए तो सफलता निश्चित रूप से किसी न किसी रूप में आपके समक्ष अवसर बनकर आ खड़ी होती है। पेण्ड्रा के युवा साहित्यकार आशुतोष आनंद दुबे की पिछले कई वर्षों से साहित्य एवं कविता के प्रति साधना एवं लगन का ही परिणाम है कि बचरवार जैसे छोटे से गांव से निकलकर आज राजधानी दिल्ली में टैक्निया सभागार के बड़े मंच से अंतर्राष्ट्रीय कवियों के बीच काव्यपाठ कर अपनी आवाज बुलंद करने का अवसर मिला।
15 नवंबर को राजधानी दिल्ली में राष्ट्रीय कवि संगम संस्था की ओर से टैक्निया सभागार रोहिणी में संस्था के अध्यक्ष जगदीश मित्तल के जन्मदिवस पर दस्तक नई पीढ़ी की नाम से कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया जिसमें देश भर से चुनिंदा बारह युवा कवियों को काव्यपाठ के लिए चयनित किया गया। यह कार्यक्रम पिछले तेरह वर्षों से प्रति वर्ष आयोजित किया जा रहा है। इस वर्ष आशुतोष को भी उनकी कविताओं और प्रस्तुति के आधार पर राष्ट्रीय स्तर पर काव्यपाठ हेतु चयनित किया गया। इस समारोह में राष्ट्रीय अध्यक्ष जगदीश मित्तल महामंत्री तथा भाषाविद् अशोक बत्रा अंतर्राष्ट्रीय कवि सुदीप भोला गजेंद्र सोलंकी प्रवीण शुक्ल वीर रस कवि योगेन्द्र शर्मा अनिल अग्रवंशी पीके आजाद कलाम भारती महेश शर्मा दिनेश देवघरिया कवयित्री प्रियंका राय ऋतु गोयल सहित सैकड़ों कवि तथा साहित्यप्रेमी इन युवा कवियों को सुनने के लिए एकत्रित हुए।
साहित्यिक दृष्टि क्षेत्र के साहित्य एवं कविता प्रेमी जनों ने आशुतोष को इस उपलब्धि के लिए बधाई दी है तथा उनके उज्ज्वल भविष्य के लिए शुभकामनाएँ दी हैं। आशुतोष ने अपनी इस उपलब्धि के लिए क्षेत्रवासियों के समर्थन प्रेरणा तथा अपने साहित्यिक मित्रों के साथ तथा संस्था के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगदीश मित्तल सहित छत्तीसगढ़ की प्रांतीय इकाई का धन्यवाद ज्ञापित किया तथा भविष्य में साहित्य एवं कला के उत्थान एवं बेहतरी के लिए निरंतर कार्य करते रहने की बात कही है।