मध्य प्रदेश

मध्यप्रदेश में राशन दुकानों का जिम्मा अब महिलाओं को, ओमकारेश्वर में शंकराचार्य की 108 फीट ऊंची प्रतिमा का प्रस्ताव भी पारित, राशि का भी आवंटन …

भोपाल। मध्यप्रदेश में शिवराज कैबिनेट की अहम बैठक सोमवार को मंत्रालय में हुई। इसमें 18 प्रस्तावों को मंजूरी मिल गई। सबसे अहम प्रस्ताव महिलाओं के लिए रहा। इसमें महिलाओं को अब राशन दुकानों का जिम्मा मिलेगा। इसका प्रस्ताव खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग ने तैयार किया था।

शिवराज सरकार के कैबिनेट मंत्रियों की अहम बैठक सोमवार को मंत्रालय में हुई। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में हुई बैठक में फर्नीचर क्लस्टर को बढ़ावा देने के प्रस्ताव को भी कैबिनेट ने हरी झंडी दी।

कैबिनेट बैठक की जानकारी देते हुए प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्र ने मीडिया को बताया कि ओंकारेश्वर में शंकराचार्य प्रतिमा के लिए राशि आवंटन की मंजूरी मिली है। वहीं कृषि अभियांत्रिकी संचालनालय के पुनर्गठन को भी मंजूरी दी गई है। इसके अलावा उद्योगों को जमीन देने के संशोधन को मंजूरी दी गई। वहीं 1 नवंबर को होने वाले मध्यप्रदेश राज्य के स्थापना दिवस पर 7 दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन भी करने का भी प्रस्ताव पास किया गया। इस कार्यक्रम में 50 लाख से अधिक लोग लाभान्वित हो सकेंगे। यह भी बताया गया है कि स्थापना दिवस के मौके पर प्रत्येक दिन विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे।

नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि कैबिनेट ने सीहोर जिले में 346.12 करोड रुपए की सीप-अम्बर सिंचाई कॉम्प्लेक्स को स्वीकृति प्रदान की है। इस निर्णय से सीहोर जिले के 47 ग्रामों का 15,284 हेक्टेयर अतिरिक्त क्षेत्र सिंचाई सुविधा के दायरे में आ जायेगा। गृहमंत्री ने कहा कि कैबिनेट ने “मध्य प्रदेश एमएसएमई को औद्योगिक भूमि तथा भवन आवंटन एवं प्रबंधन नियम, 2021” में संशोधन का प्रस्ताव मंजूर किया है। इससे राज्य सरकार की मंशा के अनुरूप औद्योगिक इकाईयों को त्वरित निवेश और स्थानीय युवाओं को रोजगार के नए अवसर मिल सकेंगे। मिश्रा ने बताया कि कैबिनेट ने ओंकारेश्वर में आदि शंकराचार्य की 108 फुट ऊंची बहुधातु प्रतिमा व पेडेस्टल निर्माण कार्य के लिए पुनरीक्षित लागत राशि ₹198.25 करोड़ के प्रस्ताव को मंजूरी दी है।

मंत्रि-परिषद ने प्रदेश में कृषि यंत्रीकरण से संबंधित कार्यक्रमों के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए कृषि अभियांत्रिकी संचालनालय के विस्तार का निर्णय लिया। इसमें विभाग के 360 रिक्त पदों को समर्पित करते हुए संचालनालय में 163 नवीन पदों का सृजन किया जाकर 20 जिलों में नवीन जिला कार्यालय तथा 2 संभागों में नवीन संभागीय कार्यालय स्थापित किये जाएंगे।

मंत्रि-परिषद ने अटल बिहारी वाजपेयी सुशासन एवं नीति विश्लेषण संस्थान में मुख्यमंत्री यूथ इंटर्नशिप फॉर प्रोफेशनल डेवलपमेंट (सीएमवायआईपीडी) प्रोग्राम को दो वर्ष के लिये संचालित करने की स्वीकृति दी। इसमें स्नातक एवं स्नातकोत्तर की शिक्षा पूर्ण कर चुके 4 हजार 695 इन्टर्न शामिल होंगे। प्रोग्राम वर्ष 2022-23 और 2023-24 के लिए प्रस्तावित है, जिस पर प्रति वर्ष 77 करोड़ 86 लाख रूपये का व्यय भार आएगा।

मंत्रि-परिषद ने मध्यप्रदेश एमएसएमई को औद्योगिक भूमि, भवन आवंटन एवं प्रबंधन नियम 2021 में निहित प्रक्रिया को सरलीकृत, विकास उन्मुखी और अधिक प्रभावी बनाने के लिये नियम में संशोधन करने का निर्णय लिया। विभाग के आधिपत्य की अविकसित भूमि का आवंटन मध्यम उद्यम को किया जा सकेगा। समस्त विकसित एवं विकसित किये जाने वाले औद्योगिक भूखंडों का आवंटन ‘प्रथम आओ-प्रथम पाओ’ की प्रक्रिया से सिर्फ इलेक्ट्रानिक पोर्टल से किया जाएगा।

बंद औद्योगिक इकाइयाँ जो कम से कम 5 वर्ष तक उत्पादन में रही हों और कम से कम 2 वर्ष से बंद हो, को आवंटित भूखंड के समुचित उपयोग के द्ष्टिगत नवीन उद्योग स्थापना के लिए भूखंड का विभाजन कर हस्तांतरण के लिए सशर्त अनुमति पात्रतानुसार प्रदान की जायेगी।

फर्नीचर क्लस्टर को बढ़ावा देने की दृष्टि से औद्योगिक क्षेत्रों में आवंटन के लिए प्रतिबंधित गतिविधियों की सूची से आरा मशीन को विलोपित किया गया है। औद्योगिक इकाइयों की स्थापना से राज्य शासन की मंशा अनुरूप स्थानीय व्यक्तियों को रोजगार के अधिक अवसर उपलब्ध हो सकेंगे एवं एमएसएमई सेक्टर में भी उद्द्यम स्थापना एवं संचालन में सुगमता होगी।

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