पेण्ड्रा-मरवाही

लॉकडाउन में डिजिटल क्रांति, पेंड्रा कॉलेज के प्रोफेसर अतुल तिवारी जूम ऐप से ले रहे ऑनलाइन क्लास

पेंड्रा (आशुतोष दुबे)।  एक ओर जहां कोरोना के लगातार बढते मामलों के मद्देनजर केंद्र सरकारन ने लॉकडाउन की अवधि में बढ़ोतरी की है। वहीं इस समय भारत भर में व्यावसायिक, अकादमिक तथा शैक्षिक गतिविधियों के साथ ही बच्चों की पढ़ाई पर भी प्रभाव पड़ रहा है। इस समय में एक अनोखी पहल ने छात्रों के लिए एक आशा की किरण जगाई है। डिजिटल इंडिया के स्लोगन को साकार रूप देते हुए पेंड्रा के शासकीय महाविद्यालय में पदस्थ प्राणीशास्त्र के प्रोफेसर डॉ. अतुल तिवारी ने महाविद्यालय में पढ़ रहे छात्र-छात्राओं को जोड़ते हुए जूम ऐप के माध्यम से ऑनलाइन क्लास लेना शुरू किया है। इससे विद्यार्थियों में सकारात्मक प्रभाव पड़ रहा है तथा विषय कोर्स भी पूरा हो रहा है। जिससे बच्चे परीक्षा के लिए घर बैठे तैयारी कर पा रहे हैं।

गौरतलब है कि जूम ऐप एक ऐसा वीडियो कांफ्रेंसिंग ऐप है जिसमें एक साथ कई लोग जुड़कर चर्चा परिचर्चा में भाग ले सकते हैं। वर्तमान में कई विभागों की महत्वपूर्ण बैठकों के विए भी इसका उपयोग किया जा रहा है।

डॉ. अतुल तिवारी ने बताया कि जूम ऐप से घर बैठे ही बच्चे अपने डाउट्स क्लियर कर पा रहे हैं। कोर्स भी समय पर पूरा हो रहा है। इसके साथ ही विभिन्न टॉपिक पर लेक्चर तथा चर्चा के लिए अन्य प्रोफेसर भी इनका साथ दे रहे हैं। जिनमें गुरु घासीदास विश्वविद्यालय जैव प्रौद्योगिकी के प्रोफेसर डॉ. धनंजय शुक्ला, साइंस कालेज रायपुर के डॉ. मृगेंद्र नागार्जुन भी छात्रों से संवाद कर उन्हें विभिन्न विषयों पर अपना मार्गदर्शन उपलब्ध करा रहे हैं।

पेंड्रा महाविद्यालय के एमएससी प्राणीशास्त्र के 25 छात्र-छात्राओं में से लगभग 18 छात्र-छात्राएं इस माध्यम से जुड़कर ऑनलाइन पढ़ाई कर रहे हैं। कुछ विद्यार्थी सुदूर अंचल के होने के कारण इस ऐप से नहीं जुड़ पाए हैं। वास्तव में डॉ. अतुल तिवारी द्वारा की गई यह पहल सभी शिक्षकों के साथ-साथ महाविद्यालय के लिए भी आदर्श मॉडल प्रस्तुत करता है।

जूम ऐप के माध्यम से विद्यार्थियों को जोड़कर घर बैठे ही मार्गदर्शन दिया जा रहा है। विषय संबंधी सभी शंकाओं का समाधान किया जा रहा है। इसका उद्देश्य विषय परिचर्चा के अलावा छात्र-छात्राओं को डिजिटल ऐप से जोड़कर उसका सदुपयोग करने हेतु प्रेरित करना भी है। हम अलग अलग विश्वविद्यालय तदा महाविद्यालय के अनुभवी प्राध्यापकों के द्वारा बच्चों का सीधा संपर्क कराते हुए उनके सभी समाधान कर रहे हैं। इस ऐप के माध्यम से अऑनलाइन क्लासेस आगे भी जारी रहेंगी।

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