मध्य प्रदेश

विधानसभा चुनाव के मौसम में धार्मिक आयोजनों की बाढ़ कथावाचकों की पूछ परख बढ़ी

भोपाल। मध्य प्रदेश में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव का समय नजदीक आ रहा है वैसे ही सियासी दलों के रंग भी गाढ़े होते जा रहे हैं। भाजपा के हिंदुत्व की पिच पर कांग्रेस ने भी अब बल्लेबाजी तेज कर दी है। 2018 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के हार्ड हिंदुत्व के जवाब में कांग्रेस का सॉफ्ट हिंदुत्व का एजेंडा असरदार साबित हुआ था।

अब भाजपा को टक्कर देने के लिए कांग्रेस ने उसी के अंदाज में जवाब देना शुरू कर दिया है। इसकी शुरुआत बीते दिनों हुए धार्मिक आयोजन और भगवा रंग में रंगे नेताओं से लगाई जा सकती है। कांग्रेस के कई बड़े नेताओं ने अपने विधानसभा क्षेत्र में बड़े कथावाचक ओं को बुलाकर खुद को सबसे बड़ा हिंदुत्व का रक्षक बताने की कोशिश की। भोपाल में पूर्व मंत्री पीसी शर्मा ने भी भागवत कथा करा कर अपने हिंदुत्व की छवि चमकाने की कोशिश की। इसमें कांग्रेस नेता कमलनाथ, दिग्विजय सिंह, सुरेश पचौरी से लेकर कई नेता शामिल हुए। वहीं भोपाल में आयोजित पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा में मंत्री विश्वास सारंग बम बम भोले के जयकारे लगाते हुए झूमते हुए नजर आए। वहीं प्रियंका गांधी ने प्रदेश में चुनाव का शंखनाद भी नर्मदा पूजन के साथ किया। सिर्फ इतना ही नहीं जबलपुर में कांग्रेस के आयोजन वाले रास्ते पर हनुमान के कट आउट लगाए गए थे।

जीत के लिए अनुष्ठान

विधानसभा चुनाव में हिंदुत्व के एजेंडे पर भाजपा और कांग्रेस के नेता पूरा दम लगाते हुए नजर आ रहे हैं। कथावाचकों का भी कहना है कोई भी अनुष्ठान असफल साबित नहीं होता है। अनुष्ठान कारगर साबित होते हैं और धार्मिक आयोजनों का फायदा आयोजकों को जरूर मिलेगा

हिंदुत्व के पिच पर बल्लेबाजी

इस बार चुनावी मौसम से पहले धर्म की बयार सिर्फ गली मोहल्लों में नहीं बल्कि बड़े धार्मिक स्थलों पर नजर आ रही है। शिवराज सरकार ने अपने हिंदुत्व एजेंडे पर काम करते हुए देशभर में कई बड़े धार्मिक महा लोक बनाने शुरू कर दिए हैं। महाकाल लोक के बाद पीतांबरा पीठ का लोक, ओरछा महा लोक, सलकनपुर देवी महा लोक से लेकर आधा दर्जन से ज्यादा धार्मिक महा लोक बनाकर तैयार किए जा रहे हैं। विधानसभा चुनाव से पहले सरकार अपने हिंदुत्व एजेंडे पर चलते हुए अपनी हिंदुत्ववादी छवि को जनता के सामने पेश करने की तैयारी में है। लेकिन इस बार हिंदुत्व के एजेंडे पर भाजपा को कांग्रेस से भी कड़ी टक्कर मिल रही है। मध्य प्रदेश के सबसे बड़े वोट बैंक हिंदू वोटर्स पर जो अपनी पकड़ को मजबूत करेगा कुर्सी उसी की होगी। यही वजह है कि हिंदुत्व की पिच पर भाजपा और कांग्रेस दोनों ही दमदार बल्लेबाजी करने के लिए तैयार है।

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