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हिन्दू ने तोड़ा था 100 साल पुराना शिवलिंग, हिन्दू संगठनों ने सड़क पर किया था हनुमान चालिसा, मस्जिद में लगे कैमरे से पकड़ा गया आरोपी …

उज्जैन। उज्जैन में करीब 100 साल पुराने एक मंदिर में हुई तोड़फोड़ के मामले का पुलिस ने खुलासा करने का दावा किया है। बता दें कि मंदिर में रखे शिवलिंग को तोड़ा गया था और उस वक्त यह भी कहा गया था कि बदमाश टूटे हुए हिस्से को चोरी कर अपने साथ ले भी गया था। इस घटना के बाद नाराज हिंदुवादी संगठनों ने सड़क पर प्रदर्शन किया था। प्रदर्शन के दौरान कुछ लोगों ने सड़क पर हनुमान चालीसा भी पढ़ा था। पुलिस से लोगों ने मांग की की थी कि 7 दिनों के अंदर इस मामले के आरोपियों को पकड़ा जाए। अब पुलिस ने इस मामले का खुलासा कर दिया है।

बता दें कि के बड़नगर के गांव रुनिजा व माधोपुरा के बीच स्थित नवग्रह के शिव मंदिर में लगी हुई करीब 100 वर्ष पुरानी शिवलिंग को 8 अगस्त की रात अज्ञात बदमाश ने तोड़ा था। यह भी आशंका जताई गई थी कि ऐसा धार्मिक भावनाओं को भड़काने के लिए किया गया है। अब पुलिस ने मस्जिद में लगे सीसीटीवी फुटेज को खंगालने के बाद आरोपी का पता लगाया है। इस मामले में धारा  358, 295,379 के तहत केस दर्ज किया था।

भाटपचलाना थाना प्रभारी संजय वर्मा ने बताया कि पुलिस ने महज 48 घंटे में आरोपी को पकड़ा है। मंदिर से 100 मीटर दूर मस्जिद के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरे चेक करने पर एक संदिग्ध दिखा। जिसे पकड़कर पूछताछ करने पर उसने गुस्से में मूर्ति को चुराकर फेंकना बताया है।

फुटेज में नजर आया कि 8 अगस्त की रात करीब 09.35 बजे गांव रूनिजा में रहने वाला एक व्यक्ति मंदिर की तरफ जाता है और करीब दस मिनट बाद वही व्यक्ति वापस आता है। उसकी गतिविधि संदिग्ध होने से व्यक्ति को पकड़ा गया और उससे पूछताछ की गई।

पूछताछ के दौरान आरोपी ने बताया की 8 अगस्त को उसकी भतीजी की मौत हो गई थी। जो रोजाना नवग्रह शिव मंदिर पर जल चढ़ाने जाती थी। इस कारण वह शिव मंदिर में गया व भगवान पर अपना क्रोध जताने लगा कि मेरी भतीजी तेरी रोज पूजा करती थी तथा आवेश में उसने शिवलिंग को उखाड़ कर मंदिर के पीछे झाड़ियों में फेंक दिया था। अब आरोपी को भाटपचलाना पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया है।

पुलिस ने बताया कि शिवलिंग के साथ तोड़फोड़ और चोरी के मामले को एक चैलेंज के रूप में लिया गया था। घटनास्थल पर वापस जाकर बारीकी से छानबीन की गई तो मंदिर के पीछे फेंकी गई मुर्ति का टूटा हिस्सा पूर्ण रूप से सुरक्षित अवस्था में झाडियों में पड़ा था। जिसे बरामद कर मंदिर में पुनः स्थापना हेतु गांव के लोगों को सुपुर्द किया गया है।

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