मध्य प्रदेश

डिंडोरी के पूर्व जिला कांग्रेस अध्यक्ष वीरेंद्र बिहारी शुक्ला पार्टी से निष्कासित

डिंडौरी में कांग्रेस पार्टी के अंदर मचा घमासन

भोपाल। डिंडौरी के कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष वीरेंद्र बिहारी शुक्ला को 6 वर्ष के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। उन्हें पार्टी के खिलाफ बयानबाजी और अनुशासनहीनता के आरोप में हटाया गया है। मप्र कांंग्रेस कमेटी के अध्यक्ष कमलनाथ के निर्देश पर प्रदेश कांग्रेस के संगठन प्रभारी व उपाध्यक्ष राजीव सिंह ने शुक्ला के निष्कासन का आदेश जारी किया है।

डिंडौरी कांग्रेस में विद्रोह, जिला अध्यक्ष को हटाने के बाद सामूहिक इस्तीफे !

प्रदेश कांग्रेस ने जिला कांग्रेस अध्यक्ष वीरेंद्र बिहारी शुक्ला को हटाकर अशोक पड़वार को अध्यक्ष बना दिया। इस वजह से यहां कांग्रेस पार्टी के अंदर घमासन मच गया है। कई नेताओं ने विरोध करते हुए पार्टी से इस्तीफे दे दिए। वीरेंद्र बिहारी शुक्ला को जिले के अध्यक्ष पद से हटाए जाने से नाराज जिला पंचायत अध्यक्ष रुदेश परस्ते, उपाध्यक्ष अंजू व्यौहार, नगर परिषद अध्यक्ष सुनीता सारस समेत जिला पंचायत सदस्य एवं पार्षदों ने कांग्रेस पार्टी से सामूहिक इस्तीफे दे दिए। वीरेंद्र बिहारी के समर्थन में कांग्रेस नेताओं ने प्रेस कांफ्रेंस करके इस्तीफे की जानकारी मीडिया को दी। उन्होंने बताया कि वीरेंद्र बिहारी के नेतृत्व में सालों बाद जिला पंचायत एवं नगर परिषद में कांग्रेस ने जीत हासिल की। बावजूद इसके कांग्रेस पार्टी ने उन्हें पद से हटा दिया।

निर्दलीय चुनाव लड़ने की चेतावनी

जिला पंचायत अध्यक्ष रुदेश परस्ते ने वीरेंद्र बिहारी को हटाने के लिए स्थानीय कांग्रेस विधायक पूर्व कैबिनेट मंत्री ओमकार मरकाम पर साजिश रचने का आरोप लगाया। जिला पंचायत अध्यक्ष रुदेश परस्ते ने विधानसभा चुनाव में निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ने के भी संकेत दिए।

कांग्रेस में खुली गुटबाजी की पोल

प्रदेश में विधानसभा चुनाव को चंद महीने बचे हैं और ऐसे समय में पार्टी को गुटबाजी एवं अंतर्कलह से इतर होकर एकजुट करने की तैयारी चल रही है। वहीं दूसरी तरफ डिंडौरी जिले में जहां दोनों विधानसभा में कांग्रेस के विधायक हैं। वहां संगठन एवं विधायक के बीच गुटबाजी खुलकर सामने आ गई। विधानसभा चुनाव में इस गुटबाजी और अंतर्कलह से कांग्रेस पार्टी को नुकसान होने तय है।

झलका वीरेंद्र बिहारी का दर्द…

प्रेस कांफ्रेंस के दौरान पूर्व जिला अध्यक्ष वीरेंद्र बिहारी का दर्द छलक पड़ा और वे भावुक हो गए। उन्होंने न सिर्फ स्थानीय विधायक ओमकार मरकाम बल्कि प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उन्होंने कांग्रेस पदाधिकारियों पर दुर्व्यवहार करने का आरोप भी लगाया। उन्होंने यह भी कहा कि मध्यप्रदेश में कांग्रेस की सरकार सिंधिया की वजह से नहीं, कमलनाथ की मनमानी के चलते गिरी। अभी तक हम समझते थे, सिंधिया जी ने गलत किया, लेकिन हमें यह अब समझ में आया कि वे पार्टी में तानाशाही से दुखी हो गए थे।

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