नई दिल्ली

देवगुरु बृहस्पति और बुध बदल रहे हैं, आप पर यह होगा असर, पढ़ें क्या कहती है आपकी राशि …

नई दिल्ली।  शनिवार यानी 20 नवंबर से सवा दो महीने बाद बृहस्पति मार्गी होकर फिर से कुंभ राशि में प्रवेश कर रहे हैं। बृहस्पति के साथ बुध भी आज ही वृश्चिक राशि में पहुंच रहे हैं। बुध और बृहस्पति का राशि परिवर्तन एवं मार्गी होने का जातकों के जीवन और प्रकृति को प्रभावित करेगा। इस अवधि में खराब मौसम और बारिश के आसार बना रहेंगे। सर्दी का प्रकोप और तेज होगा। समुद्र में चक्रवाती तूफान बनने की आशंका रहेगी।

मेष: बृहस्पति का संचरण लाभ भाव में होगा जो आय के नए स्रोत विकसित करेगा। पारिवारिक सदस्यों में वृद्धि और घर में मंगल कार्य होंगे। आय से ज्यादा खर्च बढ़ेंगे। बावजूद इसके आय में कमी नहीं होगी।

वृषभ: इस राशि के लिए बृहस्पति कार्यों में सफलता दिलाएंगे। नौकरी में पदोन्नति होगी। आय में बढ़ोतरी होगी। राजनीति में सफलता मिलेगी। जीवन में कुछ नया करने का विचार आएगा। भूमि-भवन संबंधी कार्यों में सफलता मिलेगी।

मिथुन: बृहस्पति का भाग्य भाव में हो रहा है। भाग्य में बढ़ोतरी होगी। लाभ के नए स्रोत विकसित होंगे। भविष्य की योजनाओं पर काम करेंगे। पिता से अच्छे संबंध रहेंगे। परिवार का माहौल अच्छा रहेगा।

कर्क: इस राशि के जातकों के लिए बृहस्पति अष्टम भाव में अशुभ प्रभाव दे सकता है। मन में उत्साह बना रहेगा। अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखें। जल्दबाजी में कार्य ना करें। चोट लग सकती है। धन का प्रवाह बना रहेगा।

सिंह: इस राशि वाले जातकों के सातवें भाव में देवगुरू बृहस्पति का गोचर होगा। पारिवारिक जिम्मेदारियां मिलेंगी। पारिवारिक सदस्यों की संख्या में बढ़ोतरी होगी। मन में चिंता और तनाव हो सकता है। सकारात्मक रहें।

कन्या: छठे भाव में देवगुरु का गोचर शत्रु पीड़ा देगा। विरोधी षड्यंत्र कर सकते हैं। इनसे सावधान रहें। विवाद और कोर्ट-कचहरी के मामलों में ना फंसें, परेशानी बढ़ सकती हैं। पैसों का लेनदेन सोच-समझकर करें। सकारात्मक रहें।

तुला: इस राशि के जातकों के लिए देवगुरु का पंचम भाव में गोचर प्रसिद्धि में बढ़ोतरी करेगा। बड़े-बुजुर्गों का आशीर्वाद बना रहेगा। इच्छाओं की पूर्ति होगी। प्रसन्नता और धन प्राप्ति के सुखद समाचार मिलते रहेंगे।

वृश्चिक: चतुर्थ भाव में बृहस्पति का गोचर भवन और भूमि से जुड़े नए समाचारों को देगा। धन और वाहन सुख की प्राप्ति होगी। माता की सेवा करें, अच्छे परिणाम मिलेंगे। लाभ के अवसरों में भी वृद्धि होगी।

धनु: देवगुरु का तृतीय भाव में संचरन होगा। इससे पराक्रम में बढ़ोतरी होगी। धन के नए स्रोत विकसित होंगे। स्वास्थ्य का ध्यान रखें। सर्दी से जुड़े रोग बढ़ सकते हैं। भाइयों से मधुर संबंध रहेंगे। धन प्राप्ति के नए स्रोत विकसित होंगे।

मकर: द्वितीय भाव में बृहस्पति के संचरण से धन वृद्धि होगी। परिवार में मंगल कार्य होंगे। मित्रों के सहयोग से रुके हुए काम बनेंगे। यात्राओं का योग बन रहा है। विरोधी नुकसान पहुंचा सकते हैं। सावधान रहें।

कुंभ: प्रथम भाव में देवगुरु का गोचर नकारात्मक परिणाम दे सकता है। बावजूद इसके मन में उत्साह बना रहेगा। नए कार्यों के प्रति रुचि बढ़ेगी। गरीबों की सेवा करें। भगवान विष्णु की आराधना करने से मनवांछित फल की प्राप्ति होगी।

मीन: इस राशि में देवगुरु 12 वें स्थान में गोचर कर रहे हैं जो अच्छा नहीं है। लेकिन मीन बृहस्पति की अपनी राशि है। ऐसे में अच्छे परिणाम भी मिलते रहेंगे। लंबे समय से जारी विवाद खत्म हो जाएगा। कार्यक्षेत्र में बढ़ोतरी होगी। छात्रों को परीक्षा में सफलता मिलेगी।

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