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हिमाचल में AAP की दस्तक से सहमी कांग्रेस, गांधी परिवार को सता रहा ‘अपनों’ को खोने का डर ….

शिमला। पंजाब का किला फतह करने के बाद आप (आम आदमी पार्टी) के हौसले बुलंद हैं। आप (आम आदमी पार्टी) हालांकि उत्तराखंड चुनाव में खाता तक नहीं खोल पाई लेकिन हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुट गई है। हिमाचल प्रदेश की राजनीति में ‘आप’ की एंट्री ने कांग्रेस पार्टी के माथे पर शिकन के बादल गहरा दिए हैं। पार्टी नेतृत्व को इस बात की चिंता सता रही है कि ‘आप’ कहीं कांग्रेस के युवा चेहरों को अपने साथ न ले उड़े।

हाल ही में हिमाचल प्रदेश युवा कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष मनीष ठाकुर के अपने समर्थकों के साथ आप में शामिल होने के बाद कांग्रेस पार्टी का यह डर और बढ़ गया है। ऐसी अफवाहें जोर पकड़ने लगी हैं कि और भी युवा कांग्रेसी नेता जल्द ही कांग्रेस छोड़ सकते हैं। युवा कांग्रेस और एनएसयूआई के प्रदेश प्रभारी संदीप कुमार ने राहुल गांधी से मिलने का समय मांगा है। संदीप कुमार पिछले 36 सालों से पार्टी के साथ काम कर रहे हैं। हालांकि, उन्होंने इन दावों का खंडन किया कि वह आम आदमी पार्टी में शामिल हो रहे हैं।

प्रदेश कांग्रेस के कई अन्य नेता कथित तौर पर पार्टी संगठन के आंतरिक कामकाज से खुश नहीं हैं और उन्होंने पार्टी के युवा नेताओं के पलायन को रोकने के लिए एक सुधार की मांग की है। संदीप कुमार ने इंडिया टुडे से बातचीत में कहा, “मेरी किसी अन्य पार्टी में शामिल होने की कोई योजना नहीं है, लेकिन हम चुनाव प्रचार से पहले एक सुधार चाहते हैं। मैंने राहुल गांधी से चुनौतियों पर चर्चा करने के लिए समय मांगा है।”

हिमाचल पीसीसी चीफ कुलदीप राठौर, विपक्ष के नेता मुकेश अग्निहोत्री और अन्य सहित हिमाचल कांग्रेस के कुल 21 नेताओं ने मंगलवार को नई दिल्ली में पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात की। पार्टी सूत्रों के अनुसार बैठक डेढ़ घंटे तक चली।

राज्य नेतृत्व ने राज्य पार्टी संगठन में बदलाव का अनुरोध करने के अलावा विभिन्न चुनाव समितियों के गठन पर जल्द निर्णय लेने की भी मांग की है। हालांकि वर्तमान पीसीसी प्रमुख कुलदीप राठौर के नेतृत्व में कांग्रेस ने चार उपचुनाव जीते, कुछ नेताओं ने नए एचपीसीसी प्रमुख की मांग की है। पार्टी के तीन कार्यकारी अध्यक्षों के अलावा एक उप नेता प्रतिपक्ष नियुक्त करने की भी मांग की जा रही है।

हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस वास्तव में पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के निधन के बाद एक जन अपील वाला नेता खोजने के लिए संघर्ष कर रही है। माना जा रहा है कि सोनिया गांधी से मिलने वाले नेताओं ने भी उनसे संभावित ‘आप’ खतरे से निपटने के लिए रणनीति तैयार करने का अनुरोध किया था।

कांग्रेस के करीबी सूत्रों ने बताया कि एक सप्ताह के भीतर चुनाव समितियों के अलावा राज्य पार्टी संगठनों में आमूल-चूल परिवर्तन पर निर्णय की घोषणा की जा सकती है। पड़ोसी राज्य पंजाब में पार्टी की शर्मनाक हार के बाद कांग्रेस नेतृत्व भी कोई जोखिम लेने के मूड में नहीं है। सूत्रों ने कहा कि पार्टी नेतृत्व भी मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार की घोषणा के पक्ष में नहीं है और राज्य के नेताओं से आप की चुनौती से निपटने के लिए एकजुट चेहरा पेश करने को कहा है।

पार्टी नेतृत्व ने राज्य के कांग्रेसी नेताओं को अगले महीने होने वाले शिमला नगर निगम चुनाव के लिए तैयार रहने को कहा गया है। माना जा रहा है कि आम आदमी पार्टी राज्य की सक्रिय राजनीति में प्रवेश करने के लिए शिमला एमसी चुनाव भी लड़ सकती है।

हिमाचल कांग्रेस के करीबी सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस के कई नेता ‘आप’ आलाकमान के संपर्क में हैं और अरविंद केजरीवाल से मिलने के लिए समय मांग रहे हैं। माना जाता है कि केजरीवाल ने नेताओं से कहा था कि वह चाहते हैं कि एक आम और स्थानीय व्यक्ति पार्टी में शामिल होना चाहिए। ऐसी अटकलें हैं कि अन्य के अलावा कांग्रेस नेता 6 अप्रैल को मंडी में अरविंद केजरीवाल की पहले प्रदेश दौरे के दौरान ‘आप’ में शामिल हो सकते हैं।

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