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कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा- कोरोना काल में सरकार ने जनता पर विश्वास पैदा किया …

रायपुर (गुणनिधि मिश्रा)। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा है कि विपत्ति में सच्चे मित्र की पहचान होती है। कांग्रेस और भाजपा के विजन का अंतर और उस अंतर का परिणाम अब करोना महामारी के बाद पूरी तरह देश के सामने स्पष्ट हो चुका है। छत्तीसगढ़ सरकार ने अपने फैसलों से जनता में विश्वास पैदा किया है। इस भरोसे को तोड़ने के लिए भाजपा अफ़वाह और दहशत फैलाने की राजनीति कर रही है।

उन्होंने कहा कि करोना संक्रमण की सेकंड वेव में पूरे देश की हालत चिंताजनक है। देश में जब करोना पहली बार आया था तब भी और अब सेकंड वेव के समय भी केंद्र सरकार ने बेहद गैर जिम्मेदाराना ढंग से काम किया है। करोना संक्रमण की शुरुआत में पीएम केयर्स फंड बनाकर राशि एकत्रित की गई लेकिन इस राशि का करोना से लड़ने की तैयारी करने में कोई समुचित उपयोग नहीं किया गया। मोदी सरकार देश को यह भी बताने को तैयार नहीं है कि एक लाख करोड़ की इस राशि का क्या उपयोग किया गया। राम मंदिर चंदे के बाद पीएम केयर्स फंड के मामले को देखते हुए भाजपा को अपना नाम बदलकर भाचंपा रख लेना चाहिए। अब भाजपा को जनता से नहीं बल्कि चंदा से ही सरोकार रह गया है।

करोना से लड़ने के नाम पर इकट्ठा किए गए पीएम केयर्स फंड का कहीं कोई अता पता नहीं है। आरोग्य सेतु एप देश के साथ किया गया एक और क्रूर मजाक साबित हुआ। देश की जरूरतों का सही आकलन किए बगैर करोना वैक्सीन और रैम्सडीवीर जैसी आवश्यक दवाओं का अंधाधुंध निर्यात किया गया जिसका परिणाम देश में इनकी कमी के रूप में सामने आया है।

टीका उत्सव के 4 दिन में उतने टीके नहीं लगे जितने इस उत्सव के शुरू होने के 4 दिन पहले लगे थे देश में। कोरोना महामारी के चलते हो रही मौतों के समय उत्सव नामकरण ने पीड़ित परिजनों की भावनाओं को आघात पहुंचाने का काम किया है।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा लगातार कई दिनों तक पत्रकार वार्ता लेकर घोषित किए गए 20 लाख करोड़ के करोना पैकेज देश में किसको मिला अभी तक कोई नहीं बता पाया। करोना से लड़ने के नाम पर मोदी सरकार ने सिर्फ जुमलेबाजी की और उसका परिणाम आज पूरा देश भुगत रहा है।

उन्होंने कहा कि लगातार खबरें हैं कि गुजरात, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में करोना संक्रमित और करोना के परिणाम स्वरूप होने वाली मृत्यु की संख्या जितनी बताई जा रही है उससे बहुत अधिक है। भाजपा शासित राज्यों खासकर उत्तर प्रदेश, गुजरात और मध्य प्रदेश में स्थिति बेहद बिगड़ चुकी है। भाजपा शासित उत्तर प्रदेश में लाल पैथोलॉजी लैब और एस आर एल नामक निजी जांच कर्ताओं को करोना की जांच बंद करने के लिए कहा गया है। मध्यप्रदेश में छत्तीसगढ़ की तुलना में मात्र आधी जांच हो रही है जबकि छत्तीसगढ़ में विगत डेढ़ माह में करोना टेस्टिंग की संख्या में हुआ डेढ़ गुना का इजाफा। भाजपा शासित राज्य करोना की जांच ही नहीं कर रहे हैं और फिर भी छत्तीसगढ़ से अच्छा नहीं कर पा रहे हैं। भाजपा की यही पीड़ा है।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम ने कहा है कि भाजपा की छत्तीसगढ़ इकाई को केंद्र सरकार और भाजपा शासित राज्यों की सरकारों की कमियों को छुपाने के लिए राज्य सरकार के खिलाफ झूठे आरोप लगाने और अफवाह फैलाने के लिए निर्देशित किया गया है। भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व के इशारे पर छत्तीसगढ़ के भाजपा नेता करोना के मोर्चे पर अच्छा काम कर रही राज्य सरकार को बदनाम करने के लिए अफवाह फैलाने और दहशत फैलाने का अभियान चला रहे हैं। थाली शंख बजाने का मोदी यंत्र फेल हो गया तो कांग्रेस की राज्य सरकारों को जिम्मेदार ठहराने की कुचाल चली जा रही है। भाजपा के छत्तीसगढ़ के तमाम नेता अफवाह फैलाने और दहशत फैलाने के कुचक्र में लग गए हैं।

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